चंद्र यंत्र, मंत्र, पूजा, प्रभाव, उपाय क्या है? -Pandit.com
भारतीय ज्योतिष आपके जीवन-चक्र में ग्रहों की चाल पर ध्यान केंद्रित करता है। यदि आपका व्यक्तित्व आपके भीतर आवश्यक गुण नहीं लाता है, तो चंद्रमा की स्थिति मायने रखती है। यह यंत्र आपको एक बेहतरीन मानसिक संतुलन और शांति प्राप्त करने में मदद करेगा। यह यंत्र आपकी शक्तियों को सक्रिय करेगा और आपको भीतर से मजबूत करेगा। यदि आप इस यंत्र को अपने मंदिर में रखते हैं, तो आप बहुत खुश और संतुष्ट हो सकते हैं। यंत्र ज्यादातर तांबे की प्लेट पर उभरा होता है, जिस पर चाँदी की परत लगी होती है जो चाँद के रंग की भविष्यवाणी करती है। आपकी कुंडली को एक ज्योतिषी के माध्यम से जाँचने की आवश्यकता है जो इस यात्रा में आपका मार्गदर्शन करने की बेहतर स्थिति में होगा। वह आपको इस यंत्र की पूजा करने के तरीके सुझाएगा। यह यंत्र मुख्य रूप से चंद्रमा को प्रसन्न करता है। यदि आपकी कुंडली में चंद्रमा अचानक अप्रिय चाल दिखाता है, तो आप अपने दैनिक जीवन पर नकारात्मक प्रभाव के बारे में सुनिश्चित हो सकते हैं। चंद्र यंत्र उन लोगों को भी आशीर्वाद देगा, जो शादी करने की योजना बना रहे हैं, रिश्ते, दोस्ती आदि के मामले में।
चन्द्र यंत्र की ज्यामिति क्या है?
इस यंत्र को तांबे की प्लेट पर स्थापित किया जाना चाहिए। आपको छाप के अलावा भगवान शिव की तस्वीर भी रखनी होगी। इसे दीवार पर चिपका देना चाहिए या हर सोमवार को सुबह 5:30 से 6:30 बजे के बीच पूजा करनी चाहिए। यह यंत्र सभी प्रकार की बुरी शक्तियों को नष्ट कर देगा और दैविक शक्ति के माध्यम से शक्ति प्रदान करेगा। दो उल्टे त्रिभुज और दो वर्ग क्रमशः वायु और अग्नि का प्रतिनिधित्व करते हैं। इस यंत्र में कोई बिंदु नहीं हैं, लेकिन पैटर्न सोने से बने हैं। इस यंत्र की पूजा करने से शांति, खुशी और संवेदनशील भावनाएं आएंगी।
चंद्र यंत्र पूजा कैसे करें और उपाय प्रक्रिया?
पूजा स्थल पर जाने से पहले आपको सबसे पहले खुद को शुद्ध करना होगा। सकारात्मक सोच रखें। खुद को शुद्ध करें और भगवान पर थोड़ा पानी छिड़कें। फिर आपको एक दीया जलाना चाहिए और कुछ फूल और सूखी मिठाइयाँ रखनी चाहिए। वेदी के पास पानी का एक छोटा गिलास रखें। खुद पर और भगवान पर पानी छिड़कने के बाद आप मंत्र का जाप शुरू कर सकते हैं। आप हर सोमवार को 21 बार “आकर्षाय महादेवी राम मम प्रियं हे त्रिपुरे देवदेवेषी तुभ्यं दास्यामि यंचितम” का जाप कर सकते हैं।
बस अपनी आँखें बंद करें और अपनी गहरी इच्छाएँ माँगें। आप इसे अपनी भाषा में भी कर सकते हैं। आप प्रार्थना भी कर सकते हैं और अपनी समस्याओं के समाधान के लिए प्रार्थना कर सकते हैं।
पूजा के लिए क्या सामग्री आवश्यक है?
- पानी
- पत्ता
- फल
- पीले फूल
- गुड़
- चटाई
- तांबे की परत
- अगरबत्तियां
चन्द्र यंत्र का मंत्र क्या है?
आप प्रत्येक सोमवार को 21 बार जप कर सकते हैं।
“आकर्षय महादेवी राम मम प्रियं हे त्रिपुरे देवदेवेषि तुभ्यं दास्यामि यंचितम्”